जिलाधिकारी का छापामार एक्शन, सीबीसी जांच मशीन मिली खराब और फार्मासिस्ट भी गैरहाजिर

कानपुर, निशंक न्यूज

दो महीने की अड़चन के बाद जनता का नायक फिर सरकारी महकमों की खबर लेने निकल पड़ा है। जिलाधिकारी के छापामार एक्शन का नतीजा है कि, एक स्वास्थ्य केंद्र जांचा गया, लेकिन आहट जनपद के सभी सरकारी अस्पतालों तक पहुंची। डाक्टर्स और मेडिकल स्टॉफ अपनी ड्यूटी पर मुस्तैद नजर आए। शनिवार को वीकेंड के बावजूद, सीएमओ अस्पताल और कांशीराम ट्रामा सेंटर में रौनक नजर आई। जिलाधिकारी शनिवार को छावनी इलाके में नगरीय प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का आकस्मिक निरीक्षण करने पहुंचे थे। इस दरमियान, तमाम खामियां नजर आईं तो समझाइश के साथ दुरुस्त करने का निर्देश दिया। अलबत्ता बगैर बताए फार्मासिस्ट आयुषी अनुपस्थित मिलीं तो उनका एक दिन का वेतन रोकने का आदेश जारी कर दिया।

नावगत सीएमओ भी रहे साथ

चिकित्सा सुविधाओं को मुकम्मल बनाने के लिए कानपुर में जिम्मेदारी संभालने के अगले ही दिन से जिलाधिकारी जितेंद्र प्रताप सिंह मुस्तैद हैं। बीच में बतौर सीएमओ डॉ. हरिदत्त नेमी ने व्यवधान किय तो निरीक्षण का सिलसिला थम गया था। बेजा हरकतों के बाद हरिदत्त निलंबित हुई और उदयनाथ को बतौर सीएमओ कानपुर में तैनात किया गया। इसके बाद जनता के नायक जिलाधिकारी जितेंद्र प्रताप सिंह फिर पुराने फार्म में नजर आए। जनहित के लिए सख्त रवैया अपनाते हुए शनिवार को छावनी में प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र का सीएमओ उदयनाथ के साथ औचक निरीक्षण किया। उपलब्ध स्वास्थ्य सेवाओं को जांचा और चिकित्सकीय व्यवस्थाओं तथा पंजीकरण अभिलेखों की वस्तुस्थिति का जायजा लिया। निरीक्षण के दौरान केंद्र पर एक प्रभारी चिकित्साधिकारी एवं 13 स्वास्थ्य कर्मी तैनात मिलें, जबकि प्रभारी चिकित्साधिकारी डॉ. अनामिका वर्मा बाल्य देखभाल अवकाश पर थीं। सुजातगंज एमओआईसी को अस्थायी रूप से प्रभारी नामित किया गया है तथा उपस्थिति पंजिका के अनुसार वे एक दिन भी स्वास्थ्य केंद्र पर नहीं आयी थीं, ऐसे में जिलाधिकारी ने प्रभारी अधिकारी केंद्र पर नियमित उपस्थिति रहने का आदेश दिया है।

गैरहारिजर फार्मासिस्ट का वेतन काटा गया

निरीक्षण के दौरान फार्मासिस्ट आयुषी अनुपस्थित पाई गई, लिहाजा उनका एक दिन का वेतन काटने का आदेश देते हुए सभी कर्मचारियों को नियमित रूप से अपनी उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है। टीकाकरण कक्ष के निरीक्षण के समय मौके पर दो बच्चों का पंजीकरण दर्ज पाया गया। जिलाधिकारी ने टीकाकरण कार्य की गति और पंजीकरण की प्रक्रिया को सुगम बनाने के लिए आवश्यक सुझाव दिए। उन्होंने ओपीडी पंजिका, औषधि वितरण रजिस्टर, स्टॉक रजिस्टर, आरोग्य मेला पंजिका एवं उपस्थिति पंजिका सहित विभिन्न अभिलेखों को जांचा-परखा। आरोग्य मेला पंजिका को चेक करने पर पाया कि 18 मई के बाद किसी आरोग्य मेले का आयोजन नहीं हुआ है, जिस पर जिलाधिकारी ने इस पर संबंधित अधिकारियों से संवाद कर आगामी मेले को नियमित अंतराल पर आयोजित किए जाने का दिशा निर्देश दिया है। उन्होंने मुख्य चिकित्साधिकारी को निर्देशित किया कि 1 जनवरी 2025 से अब तक की ओपीडी उपस्थिति तथा चिकित्सकों की उपस्थिति का विवरण बनाकर प्रस्तुत किया जाए।

जिलाधिकारी को सीबीसी मशीन मिली खराब

जिलाधिकारी जितेन्द्र प्रताप सिंह के निरीक्षण के दौरान सीबीसी जांच मशीन तकनीकी कारणों से खराब मिली। अधिकारियों ने अवगत कराया कि मशीन कुछ दिन पहले ही प्राप्त हुई है। जिलाधिकारी ने इसकी त्वरित मरम्मत या बदलने की कार्यवाही सुनिश्चित करने के निर्देश दिए, ताकि मरीजो की जांच कार्य प्रभावित न हो।

क्या कहते हैं डीएम

जिलाधिकारी जितेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि सरकार का उद्देश्य प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाओं को अंतिम व्यक्ति तक प्रभावी रूप से पहुंचाना है। यह तभी संभव है जब व्यवस्थाएं पारदर्शी, सक्रिय और समयबद्ध हों। प्रशासन द्वारा सभी आवश्यक सुधारात्मक कदम उठाए जा रहे हैं, ताकि जनता को सहज, सुलभ और गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं मिल सकें।

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