दुनिया देखने के पहले चली गई मासूमों की जान

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दुनिया देखने के पहले चली गई मासूमों की जान

फतेहपुर में आग से जलकर मर गईं दुधमुही बच्चियां

आग की चपेट में आकर मवेशी व गृहस्थी भी जली

निशंक न्यूज  दो मासूम बच्चियां जिन्होंने अभी ठीक से दुनिया भी नहीं देखी थी। दोनों का दूध पीकर ही जीवन जी रही थी। ठीक से खाना खाना भी नहीं आया था। परिवार के अभिभावक उन्हें ठीक से उनके पांव पर चलना सिखा रहे थे दोनों बच्चियां अपने परिवार का खिलौना थीं हर एक उनकी बालपन की हरकतों को देखकर खुशी महसूस करता था लेकिन रविवार को दोनों आग की चपेट में आकर अपनी जान गंवा बठीं। एक गौरी थी तो दूसरी श्वेता।

मासूम बच्चियों की मौत के बाद गांव का हर एक शख्श गमगीन था। हर एक की जुबां पर बच्चियों की मासूम हरकतों की ही चर्चा हो रही थी। जो दो मासूम बच्चियों की मौत की बात सुन रहा था उसी की आंखें नम हो रही रही थीं। सभी एक दूसरे को ढांढस बंधाने में लगे थे लेकिन भारी मन से। घटना भी ऐसी ही हुई।

 हुआ यह कि फतेहपुर जनपद के चितौरा गांव में रहने वाले ननका की पत्नी फूल दुलारी व परिवार के अन्य सदस्य खेतों में धान काटने चले गए। घर पर 8 वर्ष की मासूम बच्ची गौरी व  6 वर्ष की बच्ची श्वेता अपनी बाल जिद के कारण घर पर रुक गई। घर से गौरी बाहर खेलने निकल गई इस बीच श्वेता की जिद पर पड़ोस में ही रहने वाले चाचा विजय की 4 वर्षीय पुत्री रजनी भी यहां ही खेलने पहुंच गई। मकान की पक्की कोठरी पर आगे लगे छप्पर के नीचे दोनों खेलने लगीं।  तभी अचानक छप्पर में आग लग गई। दोनों मासूम बच्चियों कुछ समझ पातीं इसके पहले ही आग ने विकराल रूप ले लिया और दोनों बच्चियां आग में फंस गई। इधर छप्पर में लगी आग उधर मासूम बच्चियों की चीख सुनकर गांव के लोग दौड़कर मौके पर पहुंचे और आग पर काबू करने का प्रयास किया। जब तक ग्रामीण आग पर काबू पाते दोनों मासूम बच्चियों की जिंदा जलकर मौत हो गई। घटना की सूचना मिलते ही एसपी प्रशांत वर्मा व एसडीम आशीष कुमार सिंह, सीओ कापिल देव मिश्रा भी पहुंचे। एसडीएम ने बताया दो मासूम बच्चियों की जलकर मौत हुई है। चार बकरियां के साथ ही खाने पीने का सामान भी जल गया। नुकसान का आंकलन कराया जा रहा है।