निशंक न्यूज/कानपुर। केंद्रीय ट्रेड यूनियनों की आज देशव्यापी हड़ताल है। नए मजदूर विरोधी श्रम कानूनों के विरोध और बेरोजगारी-महंगाई, निजीकरण, एनआरसी-सीएए के खिलाफ उन्होंने इसका आह्वान किया है। हड़ताल को विभिन्न श्रमिक संगठनों व वाम दलों ने भी समर्थन देने की घोषणा की है।
श्रम संगठनों की औद्योगिक बंदी का बुधवार को मिलजुला असर रहा। भारतीय स्टेट बैंक छोड़कर सभी बैंकों में सुबह से हड़ताल रही। दादानगर में वामपंथी संगठनों ने श्रमिकों और कर्मचारियों को रोकने की कोशिश की तो पुलिस से वामपंथी श्रम संगठनों के नेताओं से तीखी झड़प हो गई। झड़प का नतीजा रहा कि आधे कर्मचारी दादानगर में फैक्ट्रियों में चले गए।
आज ट्रैड यूनियन की देशव्यापी हड़ताल पर कानपुर में इलाहाबाद बैंक बड़ा चौराहे पर और जीवन बीमा निगम के मुख्यालय फूलबाग में कर्मचारियों ने धरना प्रदर्शन किया। इसके साथ ही नगर के रक्षा कारख़ानों मे हड़ताल का मिला- जुला असर रहा. एसएएफ, ओएफसी, फील्डगन व डीजीक्यूए यूनिटों में जहॉ इम्प्लाइज यूनियन लालझंडा के सिपाही अपने हक़- हकूक की लड़ाई में जुझारू तेवरों मे दिखे, वहीं पिछली हड़ताल मे साथ रहे बीएमएस व इंटक के लोग इस बार कर्मचारी हितों के मुद्दे भूल ओवरटाइम बचाने के लिए अन्दर चले गए. यहॉ संयोजक छविलाल यादव एवं वरिष्ठ प्रतिरक्षा श्रमिक नेता घनश्याम त्रिपाठी ने सरकार पर देश के चुनिंदा पूँजीपतियों के इशारे पर सार्वजनिक सेक्टर के मजदूरों की नौकरी से खेलने का आरोप लगाते हुए कहाकि सालों से मॉगें नज़रंदाज़ करने व फेडरेशनों की न सुनने से हड़ताल मजबूरी बन गई है. यहॉ मुख्यरूप से कमलतिवारी, निर्भयशंकर सिंह, संतोष यादव, अवधेश दीक्षित, मदन खरे, पंचरत्न सिंह, इज़हार अहमद, छुटकऊपंडित, सुबोधकुमार मुकेश श्रीवास्तव रघुनायक,मनो जकुमार, सुशीलकुमार, विलाल यादव व कई अन्य मौजूद थे।
कैंट स्थित डीजीक्यूए के आफिसों – आइजीएस, सी आइजीएस, टी एंड सी, पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स आदि मे कोई अन्दर नही गया, यहं जेसीएम त्रतीय के सदस्य कामरेड एन डी मालवीय ने नेत्रत्व किया ।
आज देशव्यापी हड़ताल के चलते शहर में कानून व्यवस्था के मद्देनजर पुलिस और प्रशासन ने पुख्ता इन्तजाम किये। समुदाय विशेष के बाजार आज बंद रहे एसपी पूर्वी राजकुमार अग्रवाल ने बताया कि शहर में हड़ताल के दौरान शहर की शांति व्यवस्था बनाये रखने के लिए प्रशासन ने पूरे शहर में पुख्ता इंतजाम किये हैं।